राष्ट्रीय

देश में अघोषित आपातकाल: अशोक गहलोत

राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को भाजपा पर तीखा हमला करते हुए केंद्र की सत्तारूढ़ पार्टी पर देश में संविधान और लोकतंत्र को कमजोर करने का आरोप लगाया। अशोक गहलोत ने कहा कि राजस्थान के मुख्यमंत्री समझ नहीं पा रहे हैं, जनता बहुत परेशान है। लोगों की शिकायतें नहीं सुनी जा रही हैं। उन्होंने दावा किया कि अधिकारी विधायकों की भी नहीं सुन रहे हैं। पहले अधिकारियों को डर रहता था कि कहीं उनके खिलाफ शिकायत न दर्ज हो जाए। मौजूदा स्थिति को अघोषित आपातकाल बताते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की कार्रवाइयां पिछले 11 वर्षों में लोकतांत्रिक मूल्यों के व्यवस्थित क्षरण को दर्शाती हैं। एक्स पर एक पोस्ट में उन्होंने कहा, “यह विडंबना है कि भाजपा सरकारें ‘संविधान हत्या दिवस’ मना रही हैं। यह एक बेईमान व्यक्ति द्वारा ईमानदारी पर व्याख्यान देने जैसा है।” गहलोत ने आरोप लगाया कि देश में नागरिक स्वतंत्रता, प्रेस की स्वतंत्रता और विपक्ष की आवाज को दबाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि भारत में मौजूदा स्थिति को केवल दो शब्दों में वर्णित किया जा सकता है – ‘अघोषित आपातकाल’। संविधान को भले ही निलंबित नहीं किया गया हो और न ही राष्ट्रपति ने कोई औपचारिक घोषणा की हो, लेकिन लोगों के अधिकारों, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और विपक्ष की आवाज को दबाने के प्रयास जारी हैं। गहलोत ने भाजपा नीत केंद्र सरकार पर विपक्षी नेताओं के खिलाफ प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) जैसी जांच एजेंसियों का इस्तेमाल करने और असहमति को अपराध बनाने का आरोप लगाया।

 

 

 

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